विदेशी पोर्टफोलियो निवेशकों ने 2-6 जून के बीच 8,749 करोड़ रुपये निकाले 1.01 लाख करोड़ रुपये हुई कुल FPI निकासी 2025 में 19,860 करोड़ का निवेश किया था एफपीआइ ने मई में भारी निवेश करने वाले विदेशी पोर्टफोलियो निवेशक (एफपीआइ) जून में शुद्ध रूप से बिकवाल बन गए हैं। नेशनल सिक्योरिटीज डिपाजिटरी लिमिटेड (एनएसडीएल) के आंकड़ों के अनुसार, जून के पहले सप्ताह में एफपीआइ ने भारतीय शेयर बाजारों से 8,749 करोड़ रुपये की निकासी की है।
बीते सप्ताह नौ कंपनियों का बाजार पूंजीकरण एक लाख करोड़ रुपये बढ़ा
नई दिल्ली, प्रेट्र : बीते सप्ताह घरेलू शेयर बाजारों में रही तेजी के चलते बीएसई में सूचीबद्ध शीर्ष-10 में से नौ कंपनियों के बाजार पूंजीकरण में एक लाख करोड़ रुपये से ज्यादा की बढ़ोतरी हुई है। इस दौरान रिलायंस इंडस्ट्रीज के पूंजीकरण में सबसे ज्यादा 30,786.38 करोड़ रुपये की बढ़ोतरी हुई है।
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इसी तरह, एचडीएफसी बैंक का पूंजीकरण 26,668.23 करोड़ रुपये बढ़ा है। इसके अलावा बजाज फाइनेंस, आइसीआइसीआइ बैंक, हिंदुस्तान यूनीलिवर, भारती एयरटेल, एलआइसी, इन्फोसिस और एसबीआइ का पूंजीकरण भी बढ़ा है। बीते सप्ताह केवल टीसीएस के पूंजीकरण में 28,510.53 करोड़ रुपये की गिरावट रही है।
डाटा के अनुसार, एफपीआइ ने इस वर्ष मई में 19,860 करोड़ रुपये और अप्रैल में 4,223 करोड़ रुपये का शुद्ध निवेश किया था। एफपीआइ की इस ताजा निकासी के साथ कैलेंडर वर्ष 2025 में कुल निकासी बढ़कर 1.01 लाख करोड़ रुपये हो गई है। मार्निंगस्टार इन्वेस्टमेंट के एसोसिएट डायरेक्टर हिमांशु श्रीवास्तव का कहना है

कि विदेशी निवेशकों की ताजा निकासी अमेरिका-चीन के बीच व्यापार तनाव और अमेरिकी बांड पर यील्ड में वृद्धि का परिणाम है। इसने निवेशकों को सुरक्षित परिसंपत्तियों की ओर आकर्षित किया है। इसके अलावा, ईरान पर लगे प्रतिबंधों के अदाणी समूह की ओर से कथित उल्लंघन की अमेरिकी जांच ने निवेशकों के भरोसे को और कम कर दिया है और प्रमुख सूचकांकों में गिरावट रही है।
हालांकि, आरबीआइ की ओर से रेपो रेट में 50 आधार अंक की कमी ने बाजार भावनाओं को काफी बढ़ावा दिया है। जियोजित इन्वेस्टमेंट्स कै मुख्य निवेश रणनीतिकार वीके विजयकुमार का कहना है कि अमेरिका और चीन में विकास की संभावनाएं धूमिल दिख रही हैं। ऐसे में भारत एक लचीली अर्थव्यवस्था के रूप में सामने आ रहा है
जो चालू वित्त वर्ष में छह प्रतिशत से अधिक वृद्धि हासिल कर सकता है। एकमात्र चिंता उच्च मूल्यांकन है। डेट बाजारों से भी हो रही निकासी इक्विटी के अलावा एफपीआइ घरेलू डेट या बांड बाजारों से भी निकासी कर रहे हैं।
एनएसडीएल के डाटा के अनुसार, 2-6 जून के दौरान एफपीआइ सामान्य सीमा वाले डेट से 6,709 करोड़ रुपये और वालेंट्री रिटेंशन रूट वाले डेट से 5,974 करोड़ रुपये की निकासी कर चुके हैं। अमेरिकी और भारतीय बांड के बीच यील्ड में कम अंतर के कारण डेट बाजारों से निकासी हो रही है।
NOTE :-
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